मुजफ्फरपुर जिलाधिकारी डॉक्टर चंद्रशेखर सिंह की अध्यक्षता में समाहरणालय सभाकक्ष में पी०एम०जी ग्रुप की बैठक आहूत की गई।बैठक में विभिन्न विकासात्मक योजनाओं की समीक्षा की गई और इस संबंध में आवश्यक निर्देश जिलाधिकारी के द्वारा दिया गया।
एनएच 102 (छपरा -रेवा घाट- मुजफ्फरपुर) के समीक्षा के क्रम में परियोजना निदेशक भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण द्वारा बताया गया कि भगवानपुरआर०ओ०डब्ल्यू के बाएं सर्विस लेन का कार्य अंतिम चरण में है। उन्होंने बताया कि 31 दिसंबर तक दोनों ही लेन का कार्य पूर्ण कर लिया जाएगा।अनुमंडल पदाधिकारी पूर्वी को निर्देशित किया गया कि वे वहां पर विधि व्यवस्था की समस्या का समाधान कराएंगे ताकि निर्धारित तिथि तक दोनों सर्विस लेन चालू हो जाए। उक्त दोनों सर्विस लेन को लेकर कार्य को गति प्रदान करने का सख्त निर्देश जिलाधिकारी के द्वारा एनएचएआई को दिया गया।
एनएच- 77 (हाजीपुर मुजफ्फरपुर खंड) की प्रगति की समीक्षा के क्रम में भू अर्जन पदाधिकारी मुजफ्फरपुर द्वारा बताया गया कि एनएच-77 परियोजना की कुल लंबाई 17 किलोमीटर है तथा वर्तमान में 6 किलोमीटर की दूरी तक पथ का निर्माण कार्य पूर्ण कर लिया गया है। शेष 11 किलोमीटर में कतिपय भूधारियों के आपत्तियों का निराकरण कराते हुए मुआवजा भुगतान एवं निर्माण कार्य प्रारंभ है। उनके द्वारा बताया गया कि उक्त परियोजना के संरेखण में मधौल- दरियापुर,कफेन-सकरी सरैया-फतेहपुर कस्तूरी और रजला ग्राम आते हैं। जिलाधिकारी द्वारा भू अर्जन पदाधिकारी एवं एनएचएआई के परियोजना निदेशक को निर्देश दिया गया कि निर्माण कार्य में उत्पन्न बाधाओं का शीघ्र निराकरण करते हुए कार्य को गति दें ताकि स-समय बाईपास का निर्माण पूर्ण किया जा सके।
मुजफ्फरपुर शहर के गंदे जल को उपचारित कर छोड़ने हेतु तीन स्थानों पर सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाया जाएगा।। मनिकामन में, फर्दो नाला-खबड़ा के पास एवं मुसहरी प्रखंड अंतर्गत बेला में तिरहुत के किनारे स्थल का चयन किया गया है। कार्यपालक अभियंता बुडको द्वारा बताया गया कि मणिका मन में जो सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाया जाना है इस संबंध में स्थानीय लोगों के साथ मीटिंग की गई है। शेष अन्य दो जगहों को लेकर उत्पन्न बाधाओं के निराकरण के दिशा में अग्रेतर करवाई किया जा रहा है।
जिलाधिकारी ने उक्त तीनों स्थानों पर सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट के निर्माण को लेकर त्वरित कार्रवाई करने का निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिया।
राष्ट्रीय विद्युत उत्पादन निगम लिमिटेड कांटी से संबंधित योजनाओं की समीक्षा के क्रम में एस पाइप लाइन कॉरिडोर योजना, एस बाइक परियोजना एवं निर्माणाधीन कॉफरडेम को लेकर अनुमंडल अधिकारी और अंचल अधिकारी के साथ समन्वय स्थापित करते हुए उचित करवाई करने का निर्देश दिया गया। वही मेकअप वाटर पाइप लाइन परियोजना को लेकर एनटीपीसी अधिकारी द्वारा बताया गया कि योजना के तहत अधिगृहित जमीन के भूधारी मुआवजा भुगतान लेने को तैयार नहीं हो रहे हैं। एक लेन में पूरा लाइन बिछाया जा चुका है। परंतु दूसरे लेन में समस्या उत्पान हो रही है।
जिलाधिकारी ने कहा कि योजनाओं के निर्माण के क्रम में कार्यों में गति देना सुनिश्चित करें।
वही बिहार राज्य पुल निर्माण निगम लिमिटेड से संबंधित योजनाओं की समीक्षा के क्रम में आथर घाट पुल से संबंधित एप्रोच पथ निर्माण में उत्पन्न बाधा को देखते हुए निर्देश दिया गया कि जिन रैयतों का अभी तक एलपीसी निर्गत नहीं हुआ है उनका प्राथमिकता के आधार पर एलपीसी निर्गत कराने की कार्रवाई की जाय।
जिला भू अर्जन पदाधिकारी को निर्देश दिया गया कि शेष भूधारी का एसआईएस शीघ्र कराया जाए।
इसके अतिरिक्त मुसहरी प्रखंड में जगन्नाथ मिश्रा कॉलेज के पास बूढ़ी गंडक नदी पर उच्च स्तरीय पुल का निर्माण कार्य पूर्ण हो चुका है।उक्त पथ के अप्रोच पथ हेतु सतत लीज के तहत जमीन लिया जाना है। परंतु भू धारी सतत लीज के लिए तैयार नहीं थे।इस संबंध में बताया गया कि आवश्यक कार्रवाई शुरू की गई है तथा अधियाचना जिला भू अर्जन कार्यालय को भेज दी गई है। कार्यपालक अभियंता को निर्देश दिया गया कि एसडीओ पूर्वी को साथ लेकर स्थल पर जाए तथा संबंधित रैयतों के साथ बैठक कर समस्याओं का समाधान कराते हुए कार्य प्रारंभ कराएं।
पथ निर्माण विभाग से संबंधित मोतीपुर- बरूराज पथ, राजेपुर- कचोलिया पथ ,मीनापुर -टेगराहा पथ , निर्माणाधीन बसघट्ठा पुल, सिकंदरपुर मन होते हुए लक्ष्मी चौक पर मरीन ड्राइव की भी समीक्षा की गई एवं आवश्यक निर्देश जिलाधिकारी के द्वारा दिया गया।
बैठक में इसके अतिरिक्त ग्रामीण टोला संपर्क निश्चय योजना, नई रेल परियोजनाएं यथा- मुजफ्फरपुर- सुगौली दोहरीकरण रेल परियोजना, छपरा- मुजफ्फरपुर रेल परियोजना, हाजीपुर- सुगौली रेल परियोजना की भी समीक्षा की गई एवं आवश्यक निर्देश दिया गया।
मौर्य ध्वज एक्सप्रेस
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